राहुल गांधी की संसद सदस्यता खत्म, मानहानि केस में 2 साल की सजा के बाद आया फैसला
मानहानि केस में राहुल गांधी को 2 साल की सजा सुनाए जाने के बाद उनकी संसद सदस्यता शुक्रवार को रद्द कर दी गई है। जिसकी जानकारी लोकसभा सचिवालय द्वारा पत्र जारी कर दी गई है। राहुल गांधी केरल के वायनाड से लोकसभा सदस्य थे। उन्हे सूरत की कोर्ट ने गुरुवार को 2 साल की सजा सुनाई थी। राहुल गांधी ने 2019 में कर्नाटक की सभा में मोदी सरनेम को लेकर बयान दिया था।
2019 लोकसभा चुनाव से पहले कर्नाटक के कोलार में एक रैली के दौरान राहुल गांधी ने कहा था, ‘चोरों का सरनेम मोदी है। सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है, चाहे वह ललित मोदी हो या नीरव मोदी हो चाहे नरेंद्र मोदी।’
इसके बाद सूरत पश्चिम के बीजेपी विधायक पूर्णेश मोदी ने राहुल के खिलाफ मानहानि का केस किया था। उनका कहना था कि राहुल गांधी ने हमारे पूरे समाज को चोर कहा है और यह हमारे समाज की मानहानि है। इस केस की सुनवाई के दौरान राहुल गांधी तीन बार कोर्ट में पेश हुए थे। आखिरी बार अक्टूबर 2021 की पेशी के दौरान उन्होंने खुद को निर्दोष बताया था।
राहुल गांधी के वकील बाबू मांगूकिया ने बताया कि मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट एचएच वर्मा की कोर्ट ने राहुल गांधी को IPC की धारा 499 और 500 के तहत दोषी ठहराया था। साथ ही उन्हें जमानत दे दी और 30 दिनों के लिए सजा को निलंबित कर दिया, ताकि उन्हें हाई कोर्ट में अपील करने का मौका मिल सके।
8 साल नही लड़ सकेंगे चुनाव
सूरत कोर्ट से मिली 2 सजा पूरी करने के बाद राहुल गांधी अगले 6 साल तक कोई भी चुनाव लड़ने के लिेए अयोग्य रहेंगे। लेकिन अभी उनके लिए सारे रास्ते बंद नही हुए हैं, राहुल गांधी को कोर्ट के फैसले के खिलाफ अपील दायर करने के लिए 30 दिनों का समय दिया गया था। ऐसे में यदि राहुल गांधी हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाते हैं और हाई कोर्ट इस फैसले पर स्टे लगा देता है तो उनकी सदस्यता बनी रहेगी। य़दि हाई कोर्ट भी उनके खिलाफ ही फैसला देता है तो राहुल गांधी सुप्रीम कोर्ट का भी जा सकते हैं।