काग्रेस को बड़ा झटका, जितिन प्रसाद ने थाना बिजेपी का हाथ

नमन सत्य न्यूज ब्यूरो
कॉग्रेस दिग्गज नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के बाद बुधवार को एक बार फिर कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। बुधवार को कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद ने बीजेपी का दामन थाम लिया है। रेल मंत्री पीयूष गोयल की मौजूदगी में जितिन प्रसाद को बीजेपी की सदस्यता ग्रहण कराई गई है। आपको बता दें कि जितिन प्रसाद उत्तर प्रदेश की राजनीति में अच्छी पकड़ रखते हैं। लेकिन पिछले कुछ दिनों से पार्टी में तवज्जो ना मिलने के चलते जितिन पार्टी से नाराज थे। लिहाजा बुधवार को जितिन प्रसाद ने बीजेपी का दामन थाम लिया। ऐसे में यूपी विधानसभा चुनाव भी बेहद नजदीक हैं। जिसको लेकर अब ये भी माना जा रहा है कि जितिन प्रसाद यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान काग्रेस सीट का समीकरण भी बिगाड़ सकते हैं। आपको बता दें पिछले लंबे समय से यूपी में एक बड़ा ब्राह्मण तबका बीजेपी से नाराज चल रहा है। जिसको देखते हुए बीजेपी ने जितिन प्रसाद के बहाने यूपी में ब्राह्मण कार्ड खेलने की कोशिश की है। वहीं बुधवार को बीजेपी सदस्यता ग्रहण के दौरान जितिन प्रसाद ने कहा कि उनका कांग्रेस से तीन पीढ़ियों का नाता है। लेकिन कोरोना काल के दौरान जिस तरह से बीजेपी ने देश की कमान संभाली इससे प्रभावित होकर जितिन बीजेपी का दामन थाम रहे हैं। इसके आगे जितने कहा कि देश में असल में कोई राजनीतिक दल है तो वह बीजेपी है। उसके अलावा तो देश में अन्य दल केवल किसी जाति, ध,र्म समुदाय या फिर व्यक्ति विशेष को तवज्जो देते हैं। ऐसे में बीजेपी ही एकमात्र ऐसी पार्टी है जो केवल देश हित में काम करती हैं।
कौन है जितिन प्रसाद?
आपको बता दें कि जितिन प्रसाद के पिता जितेंद्र प्रसाद पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी और नरसिम्हा राव के राजनीतिक सलाहकार थे। इसके साथ ही जितिन के पिता जितेंद्र प्रसाद साल 2000 में कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव सोनिया गांधी के खिलाफ लड़े थे लेकिन जितेंद्र प्रसाद को उसमें हार का सामना करना पड़ा था। 2001 में जितेंद्र प्रसाद का निधन हो गया। जिसके बाद जितिन प्रसाद ने अपनी राजनीतिक गलियारे में सक्रियता बढ़ाई और पिता की राजनीतिक विरासत को संभालते हुए कांग्रेस का दामन थाम लिया। साल 2001 में पिता की मौत के बाद जितिन प्रसाद इंडियन यूथ कांग्रेस से जुड़े उसके 3 साल बाद यानी कि साल 2004 में जितिन प्रसाद ने पहली बार शाहजहांपुर सीट से लोकसभा का चुनाव लड़ा और जीत हासिल की। जिसके बाद कांग्रेस ने जितिन प्रसाद को केंद्रीय मंत्री का दर्जा दिया। इसके ठीक अगले चुनाव यानी कि साल 2009 में जितिन प्रसाद ने एक बार फिर धौरहरा लोक सभा सीट से चुनाव लड़ा और फिर जीत हासिल की। इस दौरान जितिन को कांग्रेस ने कई अहम जिम्मेदारियां देकर केंद्रीय मंत्री बनाया उसके बाद फिर अगले चुनाव यानी कि साल 2014 में जितिन प्रसाद ने कांग्रेस से लोकसभा का चुनाव लड़ा लेकिन इस बार उन्हें हार का सामना करना पड़ा। बरहाल जितिन प्रसाद ने बुधवार को बीजेपी का दामन थाम लिया है। ऐसे में माना यह भी जा रहा है कि यूपी विधानसभा चुनाव के दौरान बीजेपी जितिन को कोई अहम जिम्मेदारी सौंप सकती।